- भगवान के 400 कौश तक सुभिक्षता रहती है |
- भगवान गगन-गमन करते है ( भगवान जमीन से थोडा ऊपर चलते है ) |
- अप्राणीवध होता है ( भगवान से किसी भी प्राणी का धात नहीं होता ) |
- भोजन नहीं करते |
- अपसर्ग नहीं होता है |
- समवशरण में चारो दिशा में मुख दिखाना |
- समस्त विद्याओ का अधिपति होना |
- भगवान की छाया नहीं पड़ती है |
- भगवान की पलके नहीं झपकती |
- भगवान के नाखू और बाल नहीं बढ़ते है |
अरिहंत भगवान के 4 अनंत चतुष्टय होते है |
- अनंत दर्शन
- अनंत ज्ञान
- अनंत सुख
- अनंत वीर्य ( अनंत शक्ति होती है )
Jay jinendra.
ReplyDeleteIt really great information. I don't know that arihant bhagawan not eat food after kevalgyan.
PARASNAATH JI KA UPSARG DHARNENDRA PADMAVATI NE DOOR KIYA ?
ReplyDeleteYA PHIR KEWALYA KI UTPATTI KE KARAN SE UPSARG NIVARAN HUA???